रुडोल्फ स्टीनर (1861 - 1925) एक सम्मानित और सुप्रसिद्ध वैज्ञानिक, साहित्यिक और दार्शनिक विद्वान थे, जिन्हें विशेष रूप से गोएथे के वैज्ञानिक लेखन पर उनके कार्य के लिए जाना जाता है। बीसवीं शताब्दी की शुरुआत में, उन्होंने अपने प्रारंभिक दार्शनिक सिद्धांतों को मनोवैज्ञानिक और आध्यात्मिक घटनाओं के व्यवस्थित अनुसंधान के दृष्टिकोण के रूप में विकसित करना शुरू किया। उनकी बहुमुखी प्रतिभा ने चिकित्सा, दर्शन, धर्म, शिक्षा (वाल्डोर्फ स्कूल), विशेष शिक्षा (कैम्पहिल आंदोलन), अर्थशास्त्र, कृषि (जैवगतिकी), विज्ञान, वास्तुकला और कला (नाटक, भाषण और यूरीथमी) में नवीन और समग्र दृष्टिकोणों को जन्म दिया। 1924 में उन्होंने जनरल एंथ्रोपोसोफिकल सोसाइटी की स्थापना की, जिसकी दुनिया भर में शाखाएँ हैं।
स्टीवर्ट ईस्टन द्वारा लिखित रुडोल्फ स्टाइनर की यह पूर्ण-स्तरीय, क्लासिक जीवनी, अंग्रेजी में लिखी गई पहली जीवनी है। यह दर्शाती है कि स्टाइनर के विचार और कार्य वर्ष-दर-वर्ष कैसे विकसित हुए और उनकी विभिन्न पुस्तकों, व्याख्यानों, कलात्मक उपलब्धियों और गतिविधियों की पृष्ठभूमि प्रदान करती है। साथ ही, पाठक को स्वयं उस व्यक्ति की झलक मिलती है, उस अद्वितीय व्यक्तित्व की जिसने मानवशास्त्र की नींव रखी और जिसका प्रभाव उसकी मृत्यु के पचहत्तर वर्ष बाद भी बढ़ रहा है।